सोहर

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जनमें आज कन्हैया बिरज में।
कहना कन्हैया जी ने जन्म धरे हैं कहना ना बजत  बधाए बिरज में।।
मथुरा कन्हैया जी ने जनम धरे हैं गोकुल बजत बधाए बिरज में । 
कौन लुटावे सोना औ मोती कौन करे गौ दान बिरज में।।
यशोदा लुटा वे सोना औ मोती नंद करें गौ दान बिरज में।।
कौन करे सखी मंगल सोहर कौन मचाई दधि कीच बिरज में।
गोपी करें सखी मंगल सोहर ग्वाल मचाई दधि कीच बिरज में।।
आशा मगन हो विनती करें यह सब कुछ छोड़ बसौ  यहीं बिरज में।
स्वरचित मौलिक अप्रकाशित सर्वाधिकार सुरक्षित डॉ आशा श्रीवास्तव जबलपुर

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